सीधे मुख्य सामग्री पर जाएं
32 तब यीशु ने ख़ड़े होकर, उन्हें बुलाया, और कहा;
मत्ती 20:32
32 And Jesus stood, and called them, and said: What will ye that I do to you?
Matthew 20:32

33 तुम क्या चाहते हो कि मैं तुम्हारे लिये करूं? उन्हों ने उस से कहा, हे प्रभु; यह कि हमारी आंखे खुल जाएं।
मत्ती 20:33
33 They say to him: Lord, that our eyes be opened.
Matthew 20:33

34 यीशु ने तरस खाकर उन की आंखे छूई, और वे तुरन्त देखने लगे; और उसके पीछे हो लिए॥
मत्ती 20:34
34 And Jesus having compassion on them, touched their eyes. And immediately they saw, and followed him.
Matthew 20:34

टिप्पणियाँ

इस ब्लॉग से लोकप्रिय पोस्ट

1 वह यरीहो में प्रवेश करके जा रहा था। लूका 19:1 2 और देखो, ज़क्कई नाम एक मनुष्य था जो चुंगी लेने वालों का सरदार और धनी था। लूका 19:2 3 वह यीशु को देखना चाहता था कि वह कौन सा है परन्तु भीड़ के कारण देख न सकता था। क्योंकि वह नाटा था। लूका 19:3 4 तब उस को देखने के लिये वह आगे दौड़कर एक गूलर के पेड़ पर चढ़ गया, क्योंकि वह उसी मार्ग से जाने वाला था। लूका 19:4 5 जब यीशु उस जगह पहुंचा, तो ऊपर दृष्टि कर के उस से कहा; हे ज़क्कई झट उतर आ; क्योंकि आज मुझे तेरे घर में रहना अवश्य है। लूका 19:5 6 वह तुरन्त उतर कर आनन्द से उसे अपने घर को ले गया। लूका 19:6
9 बुराई के बदले बुराई मत करो; और न गाली के बदले गाली दो; पर इस के विपरीत आशीष ही दो: क्योंकि तुम आशीष के वारिस होने के लिये बुलाए गए हो। 1 पतरस 3:9 10 क्योंकि जो कोई जीवन की इच्छा रखता है, और अच्छे दिन देखना चाहता है, वह अपनी जीभ को बुराई से, और अपने होंठों को छल की बातें करने से रोके रहे। 1 पतरस 3:10 11 वह बुराई का साथ छोड़े, और भलाई ही करे; वह मेल मिलाप को ढूंढ़े, और उस के यत्न में रहे। 1 पतरस 3:11 12 क्योंकि प्रभु की आंखे धमिर्यों पर लगी रहती हैं, और उसके कान उन की बिनती की ओर लगे रहते हैं, परन्तु प्रभु बुराई करने वालों के विमुख रहता है॥ 1 पतरस 3:12 13 और यदि तुम भलाई करने में उत्तेजित रहो तो तुम्हारी बुराई करने वाला फिर कौन है? 1 पतरस 3:13